पंख पंख
पेंसिल ने लिखकर मिटाना सिखाया था, पेन ने ताे लिखकर काटना सिखाया था, पेंसिल ने लिखकर मिटाना सिखाया था, पेन ने ताे लिखकर काटना सिखाया था,
किसी का समय कोई लेता नहीं और किसी को बेवजह, समय कोई देता नहीं किसी का समय कोई लेता नहीं और किसी को बेवजह, समय कोई देता नहीं
खेद की बात, किसी की हत्या पर, सब मुस्करा रहे, खेद की बात, किसी की हत्या पर, सब मुस्करा रहे,
चर प्रकृति इसकी, बस तू उचित पथ पर चले जा। चर प्रकृति इसकी, बस तू उचित पथ पर चले जा।
चल रहे सम्बन्ध पर क्यों भुनभुनाएँ ? है यही बेहतर नया रिश्ता बनाएँ। चल रहे सम्बन्ध पर क्यों भुनभुनाएँ ? है यही बेहतर नया रिश्ता बनाएँ।